Series : UP Fake Encounters ?

40 वर्षीय फल बेचने वाला बागपत का इकराम बढौत के आस्था हास्पिटल में एडमिट कल्लू के बेटे को देखने गया था। अगले दिन बीवी को Whats app पे एनकाउंटर की खबर मिली॥ इकराम की चप्पलें हास्पिटल में ही पड़ी थी।

पुलिस का कहना है कि इकराम एक बाइक, 8700₹, सोने की चेन, अंगूठी छीन कर भाग रहा था। खबर मिलने पे रोका तो फायर कर दिया, जबावी फायर में गोली लगी। और मेरठ हास्पिटल पहुंचने से पहले मौत हो गयी। पुलिस के अनुसार उसके पास भी 32 बोर पिस्टल बरामद हुयी॥

जबकि इकराम की बीवी का कहना है कि इकराम को बाइक चलानी नहीं आती थी। और बिना चप्पल के क्यों बाहर जायेगा।

ये वो एनकाउंटर है जिसमे पीड़ित तिवारी, एपल का मैनेजर और प्रदेश की राजधानी का रहने वाला और धर्म से हिन्दू नहीं था ।

इकराम का परिवार गरीब है वो केस नहीं लड़ सकते, इकराम के घर में उसकी एक अच्छी सी फोटो तक नहीं है बाकी आप अंदाजा लगाइये ये कितना बड़ा अमीर/क्रिमनल रहा होगा।

संज्ञान ले लीजिये, ये पहला एनकाउंटर नहीं है एक दिन में 4 के औसत से एनकाउंटर हुए हैं बस आपको पता आज चला है। धर्म को परे रख एक बार सोच कर देखिये।

कालचक्र

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